Farmers Papaya Business : पपीता की खेती करके किसान चमक रहे हैं किस्मत जाने एक पेड़ से कितनी होती है कमाई
Result

Farmers Papaya Business : पपीता की खेती करके किसान चमक रहे हैं किस्मत जाने एक पेड़ से कितनी होती है कमाई

Farmers Papaya Business : अगर आप भी एक किसान है तो आपको बता दें कि बिहार के बेगूसराय में पपीते की खेती से किसानों की आमदनी बढ़ रहे हैं। खाघ फसलों की तुलना में पपीते की खेती से किसान आर्थिक स्थिति मजबूत कर रहे हैं ऐसे में पपीते के प्रत्येक पेड़ से किसानों का साल भर में ₹2000 से अधिक की कमाई हो रहे हैं। लिहाजा जिले भर में यह खेती अब बड़े पैमाने पर होने लगे हैं।

Farmers Papaya Business : पपीता की खेती करके किसान चमक रहे हैं किस्मत जाने एक पेड़ से कितनी होती है कमाई
Farmers Papaya Business : पपीता की खेती करके किसान चमक रहे हैं किस्मत जाने एक पेड़ से कितनी होती है कमाई

 

आपको बता दें कि चालू वित्तीय वर्ष में सिर्फ बछवाड़ा प्रखंड में कल 12 एकड़ में पपीते की खेती के लिए किसानों ने उघान विभाग के पोर्टल पर ऑनलाइन आवेदन किए हैं। बछवाड़ा प्रखंड के अंतर्गत करीब 6 एकड़ खेतों में पूर्व से कई किसान पर पपीते की खेती कर रहे हैं प्रखंड उघान अधिकारी जयप्रकाश मिश्रा ने बताए हैं कि इस खेती में प्रति पौधा ₹20 पूंजी की जरूरत पड़ते हैं। प्रति एकड़ खेत में कुल 1000 पौधे लगाए जा सकते हैं। करीब 9 माह के भीतर प्रत्येक पेड़ से लगभग 70 किलोग्राम पपीते प्राप्त हो जाते हैं ऐसे में किसानों के खेतों में ही 25 से 30 रुपए प्रति किलोग्राम की दर से पपीते आसानी से बिक जाते हैं ।विभिन्न मंदिरों में 40 से ₹50 प्रति किलोग्राम की दर से पपीते बिक रहे हैं।

Farmers Papaya Business : प्रति एकड़ 12 से 15 लख रुपए तक

आपको बता दें कि पपीते की खेती पर सरकार की ओर से 75% अनुदान भी दिए जा रहे हैं। पपीते की बागवानी के लिए कम से कम 25 डेसिमल एवं अधिकतम दो हेक्टेयर तक जमीन की जरूरत पड़ते हैं प्रति एकड़ 1000 पौधे अनुदानित दर पर लगाने में कुल 6500 पूंजी की जरूरत पड़ते हैं वही 2 साल तक प्रत्येक साल इस खेती से किसने की आमदनी प्रति एकड़ 12 से 15 लख रुपए तक हो रहे हैं। आपको बता दें कि प्रखंड उघान अधिकारी ने बताएं कि खेतों में एक बार पपीता लगा देने के बाद किस 2 साल तक फसल ले सकते हैं द्वितीय वर्ष विभाग के द्वारा प्रति एकड़ ₹4000 अनुदान दिए जा रहे हैं।

नारेपुर निवासी कृषक शंभू बछवाड़ा गांव निवासी रामबाबू चौधरी आदि किसानों ने बताएं कि पपीते की खेती में उन्हें फंगस के प्रकोप से बचाव के लिए अलर्ट रहने पड़ते हैं। यहां रेड लेडी वैरायटी के पपीते की खेती के लिए मिट्टी एवं सभी भौगोलिक दर्शन अनुकूल है जहां पानी जमा नहीं होते हो वैसे खेतों में पपीते की खेती की जा सकती है । आपको बता देंगे खेतों में फरवरी, मार्च माह तक पपीते लगा देने पर अक्टूबर तक फल आने लगते हैं।

Farmers Papaya Business : औषधीय गुना के कारण पपीते की आर्थिक मांग

आपको बता दें की औषधियां गुना के कारण बाजार में पपीते की मांग बहुत ज्यादा है । ऐसे में फलकारोबारियों के यहां पपीते का स्टॉक आते ही जल्द ही बिक जाते हैं। हेल्थ विशेषागों ने बताए हैं कि पपीता का सेवन लोगों के लिए काफी फायदेमंद होते हैं। इसमें पोषक तत्वों की प्रचुर मात्रा पाई जाती है। इसके सेवन से पाचन क्रिया दुरुस्त होते हैं इसमें विटामिन ए, विटामिन सी, प्रोटीन, कार्बोहाइड्रेट, आयरन आदि प्रचुर मात्रा में पाए जाते हैं यहां शरीर में रोग निरोधी क्षमता को बढ़ाने के लिए काफी लाभकारी माने गए हैं।

Disclaimer : आज के आर्टिकल में हमने आपको Farmers Papaya Business के बारे में बताया है। जिसमें जानकारी अधूरी भी हो सकती है. हालाँकि, फोकस मुख्य चीज़ पर है। मैं आपको बताना चाहता हूं कि दी गई सभी जानकारी इंटरनेट से ली गई है, यदि कोई गलती पाई जाती है तो हमारी निजी वेबसाइट इसके लिए जिम्मेदार नहीं है।

Admin
My name is Ravi Shankar and I have been working in the field of blogging for less than 3 years. Before this, I had worked on NaukriTime.Com website and this is the best experience of our work.
https://unpscx.com

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *